राहुल गांधी ने लोकतंत्र में बहस व असहमति का किया जिक्र
निलंबित सदस्यों का निलंबन वापस लेने की मांग कर रहा है विपक्ष
मानसून सत्र के दौरान अशोभनीय आचरण के कारण निलंबित हुए थे 12 सदस्य
नेशनल डेस्क: कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने लोकतंत्र में बहस व असहमति के महत्व का जिक्र करते हुए कहा कि मोदी सरकार पर तंज कसा है। उन्होंने कहा कि मोदी सरकार को ट्यूशन लेने की जरूरत है। राहुल गांधी ने अपने ट्वीट में कहा, “लोकतंत्र में बहस व असहमति का महत्व- इस विषय में मोदी सरकार को ट्यूशन की जरूरत है।” राहुल गांधी की ओर से यह टिप्पणी ऐसे समय की गई जब संसद के शीतकालीन सत्र में निलंबित सदस्यों का निलंबन वापस लेने की मांग कर रहा विपक्ष का हंगामा कर रहा है।
लोकतंत्र में बहस व असहमति का महत्व-
इस विषय में मोदी सरकार को ट्यूशन की ज़रूरत है।#Debate #Dissent #Democracy
— Rahul Gandhi (@RahulGandhi) December 14, 2021
गौरतलब है कि 29 नवंबर को आरंभ हुए संसद के शीतकालीन सत्र के पहले दिन राज्यसभा में कांग्रेस और तृणमूल कांग्रेस सहित अन्य विपक्षी दलों के 12 सदस्यों को मॉनसून सत्र के दौरान ‘‘अशोभनीय आचरण” करने के कारण, इस सत्र की शेष अवधि के लिए उच्च सदन से निलंबित कर दिया गया था।
जिन सदस्यों को निलंबित किया गया है, उनमें मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी (माकपा) के इलामारम करीम, कांग्रेस की फूलो देवी नेताम, छाया वर्मा, रिपुन बोरा, राजमणि पटेल, सैयद नासिर हुसैन, अखिलेश प्रताप सिंह, तृणमूल कांग्रेस की डोला सेन और शांता छेत्री, शिव सेना की प्रियंका चतुर्वेदी और अनिल देसाई तथा भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी के विनय विस्वम शामिल हैं।