श्रीलंका में लगातार बिगड़ रहे आर्थिक हालात
प्रदर्शनकारियों ने कल प्रधानमंत्री के निजी घर में आग लगाई
राष्ट्रपति गोटाबाया राजपक्षे ने 13 जुलाई को इस्तीफा देने की घोषणा
इंटरनेशनल न्यूज: साल 1948 में स्वतंत्रता मिलने के बाद श्रीलंका में आर्थिक लगातार बिगड़ रहे हैं। देश में जनता का गुस्सा उबाल पर है और शनिवार से जारी विरोध प्रदर्शन ने अब हिंसक रूप ले लिया है। वहीं अब प्रधानंमत्री के घर को आग लगाने की ख़बर सामने आ रही है।
श्रीलंका में आर्थिक और राजनीतिक संकट का विरोध कर रहे प्रदर्शनकारियों ने कल प्रधानमंत्री के निजी घर में आग लगा दी थी। हालांकि, अब प्रदर्शनकारियों का कहना है कि पुलिस ने ही प्रधानमंत्री के घर में आग लगाई है। जब घटना का वीडियो बनाया जा रहा था तो पुलिस ने जबरन लोगों के कैमरे बंद कर दिए।
#WATCH | Protestors reach the grounds of Presidential palace in Colombo, Sri Lanka
It’s time that we got all our stolen money back to this country. The ACs were running in Presidential palace while people didn’t have electricity in their homes: A local
(Source: Reuters) pic.twitter.com/YZE0N6udWu
— ANI (@ANI) July 10, 2022
राष्ट्रपति आवास पर कब्जा करने के बाद देर रात प्रदर्शनकारियों ने प्रधानमंत्री रानिल विक्रमसिंघे का घर को भी घेर लिया, जिसके बाद राष्ट्रपति गोटाबाया राजपक्षे ने भी 13 जुलाई को इस्तीफा देने की घोषणा कर दी है। इधर, श्रीलंका के चीफ डिफेंस स्टाफ शावेंद्र सिल्वा ने प्रदर्शनकारियों से अपील की है कि शांति बनाए रखने के लिए जवानों का सहयोग करें।
श्रीलंका में संकट आने के बाद हुए ये बदलाव
गोटबाया राजपक्षे ने 13 जुलाई को सशर्त इस्तीफा देने की बात कही है। गोटबाया की 8 जुलाई के बाद कोलंबो में नहीं देखा गया। श्रीलंकन सरकार में मंत्री हिरेन फर्नांडो और मनुषा ननयकारा ने इस्तीफा दे दिया है।
उन्होंने अपना इस्तीफा राष्ट्रपति को भेजा है। श्रीलंका पुलिस ने देश में बिगड़ते हालात के बीच कई प्रांतों में कर्फ्यू लगाया। चीफ डिफेंस स्टाफ ने लोगों से शांति बनाए रखने की अपील की है। प्रदर्शनकारियों ने समागी जाना बालवेगया (SJB) के सांसद रजिता सेनारत्ने पर हमला किया।
राष्ट्रपति भवन पर जनता के कब्जे के बाद दबाव बढ़ा तो प्रधानमंत्री विक्रमसिंघे ने पद से इस्तीफा दे दिया। जिसकी जानकारी उन्होंने सोशल मीडिया पर दी।