केंद्र सरकार ने पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया के खिलाफ कार्रवाई
पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया पर लगा 5 साल का बैन
टेरर फंडिंग के जरिए दंगे फैलाने और हत्याओं का आरोप
नेशनल डेस्क: केंद्र सरकार ने पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया के खिलाफ कार्रवाई करते हुए पांच साल का बैन लगा दिया है। एनआईए समेत अन्य सुरक्षा एजेंसियों ने मंगलवार को पीएफआई के खिलाफ देशव्यापी छापेमारी की थी। इससे पहले 22 सितंबर को भी पीएफआई के खिलाफ देशव्यापी कार्रवाई की गई थी। पीएफआई से जुड़े हुए लोगों की गिरफ्तारी और उनसे पूछताछ के बाद पहले ही बैन लगाने की आशंका जताई जा रही थी।
गृह मंत्रालय ने पांच साल के लिए बैन के दिए आदेश
केंद्रीय गृह मंत्रालय ने पीएफआई पर बैन लगा दिया है। ये बैन एनआईए समेत राज्य पुलिस और तमाम एजेंसियों की कार्रवाई के बाद लगाया गया है। गृह मंत्रालय ने पांच साल के लिए बैन के आदेश दिए हैं। पीएफआई पर टेरर फंडिंग के जरिए देश के कई शहरों में दंगे फैलाने और हत्याओं का आरोप है।
जांच एजेंसियों ने की थी देश भर में छापेमारी
जानकार सूत्रों का कहना है कि पीएफआई मौजूदा समय में देश के 15 राज्यों में सक्रिय है। एनआईए और अन्य सुरक्षा एजेंसियों ने पीएफआई के खिलाफ का पूरी तरह शिकंजा कस दिया है। इसी कड़ी में 22 और 27 सितंबर को पीएफआई के खिलाफ देशव्यापी छापेमारी में सैकड़ों लोगों को पकड़ा गया था। पहले राउंड की छापेमारी में पीएफआई से जुड़े 106 लोग गिरफ्तार किए गए थे। एनआईए ने इन लोगों से गहन पूछताछ की थी।
मंगलवार को की गई कार्रवाई में 7 राज्यों से पीएफआई से जुड़े 247 लोग पकड़े गए थे। जानकारों के मुताबिक इस छापेमारी के दौरान जांच एजेंसियों को पीएफआई के खिलाफ पर्याप्त सबूत मिले हैं। इसी कारण जांच एजेंसियों की ओर से पीएफआई पर बैन लगाने की सिफारिश की गई थी। इस सिफारिश पर बड़ा फैसला लेते हुए गृह मंत्रालय ने पीएफआई को 5 साल के लिए बैन कर दिया है।
सहयोगी संगठनों पर भी कसा शिकंजा
गृह मंत्रालय की ओर से जारी किए गए नोटिफिकेशन के मुताबिक पीएफआई के अलावा रिहैब इंडिया फाउंडेशन, कैंपस फ्रंट ऑफ इंडिया, ऑल इंडिया इमाम काउंसिल, नेशनल कॉन्फेडरेशन ऑफ ह्यूमन राइट्स ऑर्गनाइजेशन, नेशनल वीमेन फ्रंट, जूनियर फ्रंट, एम्पावर इंडिया फाउंडेशन और रिहैब फाउंडेशन, केरल जैसे सहयोगी संगठनों पर भी शिकंजा कस दिया गया है। सहयोगी संगठनों के खिलाफ भी बैन की कार्रवाई की गई है।
पीएफआई को बैन करने को लेकर डिप्टी सीएम केशव प्रसाद मौर्य और ब्रजेश पाठक ने एक न्यूज एजेंसी से बात करते हुए कहा, देश गृह मंत्री अमित शाह के फैसले की सराहना कर रहा है, हम उन्हें धन्यवाद देते हैं, निर्णय का स्वागत करते हैं। साथ ही उन्होंने फैसले का विरोध करने वालों पर निशाना साधते हुए कहा कि देश इसे कभी स्वीकार नहीं करेगा और ऐसे लोगों को जवाब मिलेगा।
भारत सरकार के गृह मंत्रालय द्वारा PFI पर प्रतिबंध का स्वागत करता हूँ,राष्ट्र विरोधी गतिविधियों का पर्याय एवं राष्ट्रीय सुरक्षा के लिए ख़तरा बन चुका था PFI,राष्ट्रीय सुरक्षा को सर्वोच्च प्राथमिकता देने वाला है यह फ़ैसला!
— Keshav Prasad Maurya (@kpmaurya1) September 28, 2022
केपी मौर्य ने ट्वीट कर कही ये बात
उत्तर प्रदेश सरकार के उपमुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य ने ट्वीट कर लिखा। भारत सरकार के गृह मंत्रालय द्वारा PFI पर प्रतिबंध का स्वागत करता हूँ,राष्ट्र विरोधी गतिविधियों का पर्याय एवं राष्ट्रीय सुरक्षा के लिए ख़तरा बन चुका था PFI,राष्ट्रीय सुरक्षा को सर्वोच्च प्राथमिकता देने वाला है यह फ़ैसला।