नई दिल्ली: जम्मू-कश्मीर के पुलवामा में पिछले सप्ताह हुए आंतकी हमले के बाद भारतीय रेल में सुरक्षा हाई अलर्ट कर दी गई है। इसको लेकर रेल मंता्रयल ने सख्ती के निर्देश दिए हैं। जम्मू-कश्मीर के सभी रेलवे स्टेशनों एवं ट्रेनों में विशेष चेकिंग एवं निगरानी करने को भी कहा गया है। रेलवे बोर्ड के चेयरमैन एवं आरपीएफ के महानिदेशक ने सभी राज्यों के राजकीय रेलवे पुलिस (जीआरपी) के प्रमुखों से सुदृढ़़ सुरक्षा व्यवस्था को लेकर बातचीत भी की है। इसके बाद रेलवे स्टेशनों और टे्रनों में सुरक्षा बल की संख्या बढ़ा दी गई है। इसके साथ ही रेल यात्रियों से संदिग्धों व लावारिस सामान की सूचना तुरंत आरपीएफ हेल्पलाइन 182 पर देने की अपील की है।
भारतीय रेलवे हाई अलर्ट पर, बढ़ाई सुरक्षा
रेलवे सुरक्षा बल के महानिदेशक अरुण कुमार ने पत्रकारों को बताया कि पुलवामा की घटना को देखते हुए किसी आंतकी हमले से निपटने के लिए रेलवे में सुरक्षा व्यवस्था चाक चौबंद कर दी गई है। जीआरपी-आरपीएफ की टीमें संयुक्त रूप से रेलवे स्टेशनों, यात्री ट्रेनों, रेल की पटयिों व रेल पुलों सुरक्षा पुख्ता कर दी गई है। जवानों की संख्या बढ़ा दी गई है। 474 रेलवे स्टेशनों पर सीसीटीवी कैमरों लगे हैं। कैमरों की मदद से कंट्रोल रूम में बैठे आरपीएफ जवान 24 घंटे लाइव निगरानी कर सकेंगे। रिकार्डिंग सुविधा से किसी घटना की तहकीकात हो सकेगी।
अरुण कुमार ने बताया कि 3000 किलोमीटर चारदीवारी बनाने के लिए बजट का प्रावधान पहले ही किया जा चुका है। रेलवे स्टेशनों पर प्रवेश-निकास के अलावा अनाधिकृ़त प्रवेश को दीवार खड़ी कर रोका जाएगा। जिससे सुरक्षा व्यवस्था में सेंध नहीं लगाई जा सकेगी। अंधेरे स्थलों पर 100 फीसदी प्रकाश व्यवस्था की जा रही है। इसके अलावा मुंबई में आंतकी हमले के बाद 202 अति संवेदनशील स्टेशनों पर ‘एकीकृत सुरक्षा प्रणालीÓ लागू की जा चुकी है। 22 कंपनियों के जवानों आंतकी हमलों से निपटने के लिए विशेष प्रशिक्षण (कंमाडो ट्रेनिंग) पहले ही दिया जा चुका है। उनकी तैनाती उक्त संवेदनशील स्टेशनों व डिविजनों में की गई है। स्टेशनों पर बम डिटेक्शन व डिस्पोजल सिस्टम, परिसर व प्लेटफार्म की भीड़ पर नजर रखने के लिए आईपी आधारित सीसीटीवी सर्विलांस सिस्टम, प्रवेश-निकास गेट पर मेटल डिटेक्टर डोर आदि लगाए गए हैं। बम की सूचना मिलने पर बम डिस्पोजल का विशेष दस्ता त्वरित कार्रवाई करेगा।
उधर सूत्रों के मुताबिक रेलवे बोर्ड ने सैन्य विशेष ट्रेन परिचालन गुप्त रखने के लिए पिछले हफ्ते निर्देश जारी किया है। इसमें रेलवे स्टेशन मास्टर, कंट्रोलर व रेल संरक्षा कर्मियों को स्पष्ट निर्देश दिया गया है कि सेना के वरिष्ठ अधिकारी, रेलवे के वरिष्ठ अधिकारी अथवा इंटीलेंस अधिकारी के नाम पर फोन करने वालों को मिलेट्री स्पेशल टे्रन की जानकारी नहीं देनी है। यदि इसकी जानकारी दी गई को ऐसे कर्मचारी पर सख्त कार्रवाई की जाएगी।