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हत्या का मुद्दा उठाने पर मिली जान से मारने की धमकी……हत्या का मास्टरमाइंड कौन, यह फडणवीस को मालूम

  • पत्रकार की हत्या का मुद्दा उठाने पर जान से मारने की धमकी मिली

  • संजय राउत ने डिप्टी सीएम को लिखी चिट्ठी

  • संजय राउत ने पत्रकार की संदिग्ध मौत को हत्या बताया 

महाराष्ट्र डेस्क: महाराष्ट्र के रत्नागिरि के मुंबई-गोवा हाइवे पर राजापुर के पास सोमवार (6 मार्च) को रिफाइनरी के समर्थक पंढरीनाथ आंबेरकर के खिलाफ रिपोर्ट लिखने के दिन ही दोपहर को पत्रकार शशिकांत वारिशे की स्कूटी को एसयूवी से टक्कर मारी गई. दूसरे दिन पत्रकार की मौत हो गई. पंढरीनाथ 14 फरवरी तक पुलिस कस्टडी में है. संजय राउत ने पत्रकार की संदिग्ध मौत को हत्या बताया है और केंद्रीय मंत्री नारायण राणे और उनके बेटे विधायक नितेश राणे और नेता निलेश राणे का नाम लिए बिना कहा है कि महाराष्ट्र के गृहमंत्री देवेंद्र फडणवीस को यह मालूम है कि मास्टरमाइंड कौन है?

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दरअसल 48 साल के शशिकांत वारीशे एक मराठी अखबार में काम करते थे। सोमवार को वारीशे की बाइक में रत्नागिरी जिले के राजापुर में एक पेट्रोल पंप के पास एक एसयूवी कार ने सोमवार को टक्कर मार दी थी। इसमें वह गंभीर रूप से घायल हो गये थे। दूसरे दिन अस्पताल में उनकी मौत हो गई थी। आरोप है कि यह गाड़ी  पंढरीनाथ आंबेरकर चला रहा था।

रिपोर्ट्स के अनुसार, वारीशे ने सोमवार को ही मराठी अखबार में रत्नागिरी रिफाइनरी और पेट्रोकेमिकल प्रोजेक्ट के खिलाफ एक लेख लिखा था। हत्या का आरोपी पंढरीनाथ आंबेरकर इस प्रोजेक्ट का समर्थक है। आंबेरकर के हित इस प्रोजेक्ट से जुड़े हुए हैं। यही कारण है कि पुलिस ने मामले में अंबरकर को गिरफ्तार कर लिया। पहले उस पर आईपीसी की धारा 304 के तहत केस दर्ज किया गया था। बाद में उस पर धारा 302 के तहत हत्या का मामला दर्ज किया गया है। आंबेरकर को आगामी 13 फरवरी तक पुलिस हिरासत में भेज दिया गया है। पुलिस हत्या के मकसद की तफ्तीश कर रही है।

                           

संजय राउत ने केंद्रीय मंत्री नारायण राणे और उनके बेटों का नाम लिए बिना आरोप लगाया कि, ‘यह हत्या एक इकलौती घटना नहीं है। पिछले पच्चीस सालों में हत्याओं का जो दौर चला है, यह उसकी एक कड़ी है। गृहमंत्री फडणवीस को मालूम है कि इसका मास्टरमाइंड कौन है? जो आरोपी पकड़ा गया है, उससे ज्यादा जरूरी उसको पकड़ना है जो इसका असली सूत्रधार है. हम केंद्रीय गृहमंत्री से अपील करेंगे कि वह एक स्पेशल टीम भेजें और मामले की गहराई से पड़ताल करें।’

संजय राउत ने देवेंद्र फडणवीस पर भी शक जताते हुए कहा कि कोंकण क्षेत्र के आंगणेवाड़ी की सभा में उन्होंने कहा था कि रिफाइनरी तो बन कर रहेगी, देखते हैं कौन रोकता है। इसके बाद दूसरे ही दिन पत्रकार की मौत हो गई। इसे सिर्फ संयोग समझा जाए क्या? संजय राउत ने कहा कि शशिंकांत वारिशे की मौत इसलिए हुई क्योंकि उसने यह जानकारी देनी शुरू की थी कि रिफाइनरी समर्थक, सरकार के कुछ लोग, रत्नागिरि के कुछ नेता इस मामले में परप्रांतीयों के साथ किस तरह सांठगांठ कर रहे थे और राजापुर की करोड़ों की जमीन कौड़ियों के मोल में बिक्री के धंधे में शामिल हैं।

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ऐसा भी आरोप है कि अंबरकर इलाके में हर उस व्यक्ति को धमकी देता था, जो क्षेत्र में प्रस्तावित रिफाइनरी के लिए भूमि अधिग्रहण का विरोध करता था। अंबरकर को अब गिरफ्तार कर लिया गया है और उसके खिलाफ हत्या का मामला दर्ज किया गया है। अंबरकर के खिलाफ वारिशे द्वारा लिखा गया एक लेख घटना की सुबह एक स्थानीय मराठी अखबार में छपा था। उक्त घटना मुंबई से लगभग 440 किलोमीटर दूर राजापुर में एक पेट्रोल पंप के पास हुई थी।

संजय राउत के अलावा शरद पवार ने भी मामले की पूरी जांच करवाने की मांग की है। इस मामले में देवेंद्र फडणवीस ने अपनी प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि यह मामला बेहद गंभीर है। इसकी विस्तार से जांच करवाई जाएगी. इस मामले को कैसे फास्ट ट्रैक कोर्ट में चलाया जाए, इसकी कोशिश की जाएगी। साथ ही राज्य के गृहमंत्री ने इस मामले में जांच के लिए आज एसआईटी गठित करने का भी आदेश दिया।

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