प्रयागराज में 19 नवंबर को हागी इंदिरा मैराथन
स्टेडियम के नवीनीकरण के चलते तैयारियां अधूरी
स्मार्ट सिटी मिशन के तहत स्टेडियम का हो रहा नवीनीकरण
प्रयागराज: पूर्व प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी की जयंती पर 19 नवंबर को होने वाली इंदिरा मैराथन की प्रयागराज में तैयारी तेज हो गई है। इंदिरा मैराथन के रूट तय कर लिया गया है। इस बार भी प्रतियोगिता रीवा रोड पर ही होगी। प्रतियोगिता का उद्घाटन समारोह आनंद भवन, जबकि समापन मदन मोहन मालवीय स्टेडियम में होगा। स्मार्ट सिटी मिशन के तहत मदन मोहन मालवीय स्टेडियम में हर तरह की खेलकूद की सुविधाओं को विकसित किया जा रहा है। लेकिन वहीं मदन मोहन मालवीय स्टेडियम अपनी अधूरी तैयारी के चलते बदहाली के आंसू रो रहा है।
यह भी पढ़ें: Pune Hotel Fire: पुणे के एक मशहूर होटल की चौथी मंजिल में लगी आग, हताहत होने की नहीं कोई खबर
क्षेत्रीय क्रीड़ा अधिकारी विमला सिंह ने बताया कि स्मार्ट सिटी के तहत मदन मोहन मालवीय स्टेडियम के नवीनीकरण का कार्य किया जा रहा है। लेकिन अभी तक स्टेडियम का काम पूरा न होने के कारण इंदिरा मैराथन की तैयारियां अधूरी है। साथ ही उन्होने बताया की प्रदेश भर से 30 बच्चे स्टेडियम के छात्रावास में रह कर अपनी तैयारियां कर रह है। स्टेडियम के नवीनीकरण का कार्य होने के कारण बच्चों को प्रैक्टिस करने के लिए बाहर जाना पड़ता है। जिसके चलते बच्चों का भविष्य भी अंधकार में है। वहीं स्टेडियम में प्रैक्टिस करने वाले खिलाड़ियों का कहना है कि स्टेडियम में काम होने के चलते ग्राउंड मिल नहीं पा रहा है। जिसके चलते उनकी तैयारियां पूरी तरह से प्रभावित हो रही है।
बता दें कि प्रतियोगिता की शुरुआत आनंद भवन से होगी, जहां हरी झंडी दिखाकर धावकों को रवाना किया जाएगा। इसके बाद धावक प्रमुख मार्ग से होते हुए रीवा रोड पर पहुंचेंगे। बादलगंज स्थित रिलायंस पेट्रोल टंकी से यू-टर्न लेकर धावक वापस प्रमुख मार्गो से होते हुए चंद्रशेखर आजाद पार्क स्थित मदन मोहन मालवीय स्टेडियम पहुंचेंगे, जहां पर समापन तथा पुरस्कार वितरण समारोह आयोजित किया जाएगा। प्रतियोगिता में लगभग 1000 से अधिक धावकों के शामिल होने की उम्मीद है। वहीं क्षेत्रीय क्रीड़ा अधिकारी विमला सिंह ने स्मार्ट सिटी के अधिकारियों से स्टेडियम के नवीनीकरण के कार्य को जल्द पूरा करने का अनुरोध किया है। जिससे की इंदिरा मैराथन की तैयारियों को अंतिम रूप दिया जा सके।
प्रयागराज से अखबारवाला.कॉम के लिए सय्यद आकिब रजा की रिपोर्ट।
यह भी पढ़ें: मोरबी हादसे के बाद धामी सरकार ने लिया बड़ा फैसला, 436 पुराने और जर्जर पुलों की जगह बनेंगे नए पुल